इतिहास
वर्ष 1956 से पूर्व बिजनौर व नगीना, मुरादाबाद जजशिप के बाहय न्यायालय होते थे। बिजनौर जजशिप शासनादेश सं० 8122/सात-678/52 दिनांकित 18-06-1956 के माध्यम से स्थापित की गयी एवं इस शासनादेश के द्वारा दो अस्थायी न्यायालय स्थापित किए गए, जिसमें एक जिला एवं सत्र न्यायालय एवं दूसरी कोर्ट सिविल जज थी। जजशिप की स्थापना पर तत्कालीन कार्यरत अस्थायी मुन्सिफ कोर्ट काे सिविल जज न्यायालय में विलय कर दिया गया। शासनादेश सं० 8122/सात-678/52 के माध्यम से स्थापित अस्थायी न्यायालय को शासनादेश सं०1578/सात-6785/52 दिनांकित 14-07-1958 के माध्यम से अस्थायी न्यायलय को दिनांक 01-04-1958 से स्थायी कर दिया गया। जनपद न्यायालय बिजनौर के प्रथम जनपद न्यायाधीश श्री आर० सी० दुबे थे।